
Baby Show & Fancy Dress Competition
30 Jan 2016
India
महरà¥à¤·à¤¿ दयाननà¥à¤¦ पबà¥à¤²à¤¿à¤• सà¥à¤•ूल
शादीखामपà¥à¤° विदà¥à¤¯à¤¾à¤²à¤¯ में पातà¥à¤° व नायको के चेहरे दिखाकर बेबी शो à¤à¤‚ड फैंसी डà¥à¤°à¥‡à¤¸ कॉमà¥à¤ªà¤¿à¤Ÿà¤¿à¤¶à¤¨ समà¥à¤ªà¤¨à¥à¤¨à¥¤
महरà¥à¤¶à¤¿ दयानंद पबà¥à¤²à¤¿à¤• सà¥à¤•ूल के ततà¥à¤µà¤¾à¤§à¤¾à¤¨ में बेबी शो à¤à¤‚ड फैंसी डà¥à¤°à¥‡à¤¸ कॉमà¥à¤ªà¤¿à¤Ÿà¤¿à¤¶à¤¨ का आयोजन किया गया जिसमें बचà¥à¤šà¥‹à¤‚ ने रंग-बिरंगे वसà¥à¤¤à¥à¤°à¥‹à¤‚ में राषà¥à¤Ÿà¥à¤° के नायक व नायिकाओं के चरितà¥à¤° को लेकर à¤à¥€ अपनी पà¥à¤°à¤¸à¥à¤¤à¥à¤¤à¤¿ दी। इस आयोजन में सैकडों की संखà¥à¤¯à¤¾ में विदà¥à¤¯à¤¾à¤²à¤¯ के छातà¥à¤° - छातà¥à¤°à¤¾à¤“ं के अतिरिकà¥à¤¤ आस-पास के विदà¥à¤¯à¤¾à¤²à¤¯à¥‹à¤‚ से à¤à¥€ बचà¥à¤šà¥‡ समà¥à¤®à¤¿à¤²à¤¿à¤¤ हà¥à¤à¥¤ बचà¥à¤šà¥‹à¤‚ की पà¥à¤°à¤¸à¥à¤¤à¥à¤¤à¤¿ देखकर पता चलता था कि बचà¥à¤šà¥‹à¤‚ के अनà¥à¤¦à¤° जिन à¤à¤¾à¤µà¤¨à¤¾à¤“ं , विचारों व उदà¥à¤µà¥‡à¤·à¥à¤¯à¥‹à¤‚ का समावेष आरà¥à¤¯ समाज व विदà¥à¤¯à¤¾à¤²à¤¯ करना चाहता है , उस पथ पर वे अगà¥à¤°à¤¸à¤° हैं।
कारà¥à¤¯à¤•à¥à¤°à¤® का मà¥à¤–à¥à¤¯ आकरà¥à¤¶à¤£ सà¥à¤µà¤¾à¤®à¥€ शà¥à¤°à¤¦à¥à¤§à¤¾à¤¨à¤‚द जी पर आधारित पातà¥à¤°à¥‹à¤‚ का सà¥à¤µà¤¾à¤®à¥€ जी दà¥à¤µà¤¾à¤°à¤¾ जामा मसà¥à¤œà¤¿à¤¦ और अकाल तखà¥à¤¤ पर दिठउनके उदà¥à¤¬à¥‹à¤§à¤¨ को पà¥à¤°à¤¸à¥à¤¤à¥à¤¤ करना था। कारà¥à¤¯à¤•à¥à¤°à¤® मे मà¥à¤–à¥à¤¯ अतिथि के रूप में शà¥à¤°à¥€à¤®à¤¤à¥€ गà¥à¤‚जन चैहान (IRS) à¤à¤µà¤‚ डा0 जà¥à¤¯à¥‹à¤¤à¤¿ उपसà¥à¤¥à¤¿à¤¤ हà¥à¤ˆà¥¤ सà¥à¤•ूल के उपाधà¥à¤¯à¤•à¥à¤· शà¥à¤°à¥€à¤®à¤¾à¤¨ अरूण पà¥à¤°à¤•ाश वरà¥à¤®à¤¾ जी पà¥à¤°à¤§à¤¾à¤¨ शà¥à¤°à¥€ कृपाल सिंह जी , कोषाधà¥à¤¯à¤•à¥à¤· शà¥à¤°à¥€ जोगिनà¥à¤¦à¥à¤° सिंह रोहिलà¥à¤²à¤¾ जी , आरà¥à¤¯ समाज के पà¥à¤°à¤§à¤¾à¤¨ शà¥à¤°à¥€ à¤à¥€à¤®à¤¸à¥‡à¤¨ कामराह जी , शà¥à¤°à¥€à¤®à¤¤à¥€ षकà¥à¤‚तला जी , शà¥à¤°à¥€à¤®à¤¤à¥€ तृपà¥à¤¤à¤¾ जी और सà¥à¤¨à¥€à¤¤à¤¾ बà¥à¤—à¥à¤—ा जी और शà¥à¤°à¥€à¤®à¤¤à¥€ गीता कोचर जी ने दीप पà¥à¤°à¤œà¥à¤œà¤µà¤²à¤¿à¤¤ किया। अतिथियों ने अपने उदà¥à¤¬à¥‹à¤§à¤¨ में कारà¥à¤¯à¤•à¥à¤°à¤® व विदà¥à¤¯à¤¾à¤²à¤¯ की पà¥à¤°à¤·à¤‚सा की।
विदà¥à¤¯à¤¾à¤²à¤¯ के पà¥à¤°à¤¬à¤‚धक शà¥à¤°à¥€ कृपाल सिंह ने विदà¥à¤¯à¤¾à¤²à¤¯ को उतà¥à¤•ृशà¥à¤Ÿ बनाने व इस कारà¥à¤¯à¤•म को सफल बनाने पर अधà¥à¤¯à¤¾à¤ªà¤¿à¤•ाओं à¤à¤µà¤‚ पà¥à¤°à¤§à¤¾à¤¨à¤¾à¤šà¤¾à¤°à¥à¤¯à¤¾ की à¤à¥‚रि - à¤à¥‚रि पà¥à¤°à¤·à¤‚सा की और कहा कि ऋषि दयानंद के दà¥à¤µà¤¾à¤°à¤¾ दिये नारी - षकà¥à¤¤à¤¿ उतà¥à¤¥à¤¾à¤¨ के मंतà¥à¤° के अनà¥à¤°à¥‚प ही आज हमारे अतिथि , महिला अतिथि के रूप में उपसà¥à¤¥à¤¿à¤¤ हà¥à¤ हैं।